Priyanka Gandhi Birthday: परिवार की राजनीतिक विरासत को आगे बढ़ा रही प्रियंका गांधी, बर्थडे पर जानिए दिलचस्प किस्से

By Ek Baat Bata | Jan 12, 2024

कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा आज यानी की 12 जनवरी को अपना 52वां जन्मदिन मना रही हैं। प्रियंका के खानदान में तीन प्रधानमंत्री हुई। जिसमें पंडित नेहरु, दादी इंदिरा गांधी और उनके पिता राजीव गांधी ने देश की सत्ता को संभाला। लेकिन पिता की हत्या के बाद मां सोनिया ने राहुल और प्रियंका को संभाला।
 
जहां सोनिया गांधी लंबे समय से राजनीति से दूर रहीं और अपने बच्चों को भी राजनीति से दूर रखा। लेकिन फिर राजीव गांधी की हत्या के बाद सोनिया डूबती कांग्रेस को उबारने के लिए राजनीति में आईं और फिर राहुल और प्रियंका भी राजनीति का हिस्सा बन गए। आइए जानते हैं उनके बर्थडे के मौके पर प्रियंका गांधी के जीवन से जुड़ी कुछ रोचक बातों के बारे में...

जन्म और शिक्षा
देश की राजधानी दिल्ली में 12 जनवरी 1972 को प्रियंका गांधी का जन्म हुआ था। वह बचपन से काफी चुलबुली और शरारती थीं। प्रियंका माता-पिता और दादी की लाडली थी। इस कारण उनकी जिद आसानी से पूरी हो जाती थी। वहीं पिता राजीव गांधी चाहते थे कि प्रियंका भी बोर्डिंग स्कूल पढ़ने के लिए जाएं। वहीं राजीव गांधी और बाद में उनके बेटे राहुल गांधी ने बोर्डिंग स्कूल में रहकर ही पढ़ाई की। लेकिन प्रियंका गांधी पढ़ाई के लिए बोर्डिंग स्कूल नहीं जाना चाहती थीं। क्योंकि वह घर से दूर नहीं जाना चाहती थीं। ऐसे में बोर्डिंग स्कूल का जिक्र आते ही प्रियंका का गुस्सा सातवें आसमान पर पहुंच जाता था। 

ऐसे में प्रियंका की जिद को देखते हुए राजीव गांधी को उनकी बात माननी पड़ी और उन्हें बोर्डिंग स्कूल भेजने का फैसला बदलना पड़ा। इसके बाद प्रियंका ने दिल्ली के मॉर्डन स्कूल से अपनी शुरूआती पढ़ाई पूरी की। इसके बाद दिल्ली यूनिवर्सिटी के जीसस एंड मैरी स्कूल से साइकोलॉजी विषय प्रियंका ने ग्रेजुएशन किया। फिर बुद्धिस्ट स्टडीज में प्रियंका ने स्नाकोत्तर की पढ़ाई पूरी की।

शादी से पहले विरोध
दरअसल, जब प्रियंका महज 13 साल की थीं, तब उनकी मुलाकात रॉबर्ट वाड्रा से हुई थी। लंबे समय तक दोनों अच्छे दोस्त रहे और बड़े होने के बाद उन्होंने एक-दूसरे से शादी का फैसला लिया। हांलाकि शुरूआत में परिवार इस रिश्ते के लिए राजी नहीं था। उनके रिश्ते का विरोध भी हुआ। लेकिन एक बार फिर जिद्दी प्रियंका ने सोनिया-राहुल सबको अपने रिश्ते के लिए मना लिया। जिसके बाद 8 फरवरी 1997 को प्रियंका और रॉबर्ट वाड्रा का विवाह हुआ। 

इंदिरा गांधी के करीब थीं प्रियंका
देश की प्रधानमंत्री और दादी इंदिरा गांधी से प्रियंका को काफी ज्यादा लगाब था। वहीं प्रियंका भी काफी हद तक अपनी दादी की तरह दिखती हैं। इसके अलावा प्रियंका कई मौकों पर दादी का जिक्र और उन्हें याद करती दिखती हैं। बताया जाता है कि इंदिरा गांधी को जब भी मौका मिलता था, तो वह अपने पोते राहुल और प्रियंका के साथ समय जरूर बिताती थीं। 

राजनीति 
राजनीतिक करियर की बात करें तो शुरूआत में प्रियंका गांधी राजनीति से काफी दूर रहीं। हांलाकि अपनी मां सोनिया गांधी के लिए उन्होंने 2004 के लोकसभा चुनाव में प्रचार का प्रबंधन संभाला था। लेकिन इस समय तक उन्होंने राजनीति में प्रवेश नहीं लिया था। वहीं साल 2007 के विधानसभा चुनाव के दौरान उन्होंने कांग्रेस पार्टी का प्रचार किया, लेकिन इस दौरान तक वह अमेठी-रायबरेली तक ही सीमित रहीं। ठीक इसी तरह से साल 2009 में भी उन्होंने कांग्रेस के लिए प्रचार किया, लेकिन ऑफिशियल तौर पर कांग्रेस पार्टी से नहीं जुड़ी थीं। 

कांग्रेस महासचिव
कांग्रेस पार्टी ने साल 2012 में प्रियंका गांधी को स्टार प्रचारक के रूप में उतारा। फिर साल 2014 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने एक बार फिर स्टार प्रचारक के रूप में कांग्रेस का साथ दिया। इसके बाद साल 2017 के विधानसभा चुनाव में प्रियंका गांधी ने उम्मीदवारों के लिए सीमित दायरे में ही प्रचार किया। लेकिन अगले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस ने प्रियंका गांधी को पूर्वी उत्तर प्रदेश का महासचिव बना दिया और वह सक्रिय राजनीति का हिस्सा बन गईं। लेकिन बता दें कि प्रियंका गांधी वाड्रा ने अभी तक कोई चुनाव नहीं लड़ा है।